पेरियार के मूर्खता भरे 15 सवाल और उनके उत्तर
आजकल सोशल मीडिया पर पेरियार समर्थक अजब अजब प्रश्न पूछकर सोचते है इतने तर्कशील प्रश्नो के कोई उत्तर नहीं दे पायेगा, और मुझे लगता है इतने मूर्खतापूर्ण प्रश्नो केउत्तर किसी ने देना उचित ही नहीं समझा नहीं तो गीता प्रेस गोरखपुर या इस्कॉन या फिर अन्य धार्मिक संस्थाओ के लोग तो बड़ी आसानी से थे, खैर ये मूर्खतापूर्ण प्रश्नो के उत्तर ये रहे 1- क्या तुम कायर हो, जो हमेशा ही छिपे रहते हो, कभी किसी के सामने प्रकट नहीं होते? उत्तर – हरि व्यापक सर्वत्र समाना, प्रेम से प्रकट होई हम जाना, आप प्रेम करो तो आपको भी वैसे ही दर्शन होंगे जैसे कबीर जी, रविदास जी, मीरा जी, तुलसी दास जी, सूरदास, चैतन्य महाप्रभु, नाभादास, बिट्ठलदास जी को हुए थे 2- क्या तुम्हें खुशामद पसंद है, जो लोगों से दिन रात पूजा-अर्चना करवाते हो? उत्तर – ये तुम्हारे शब्दकोश का समस्या है, भक्ति मनुस्य अपनी श्रद्धा से करते है जिससे मन को आनंद मिलता है। 3- क्या तुम सदेव भूखे रहते हो, जो लोगों से मिठाई, दूध, घी आदि लेते रहते हो ? उत्तर – फिर से आपका शब्दकोश आड़े आ गया, पत्रं पुष्पं फलं तोयं यो मे भक्त्या प्रयच्छति । तदहं भक्त्युपहृतमश्नामि प्रयत